पानी बंद, वीज़ा रद्द, पाकिस्तानी डिप्लोमैट्स बाहर! भारत ने आतंक के खिलाफ उठाए बड़े कदम

नई दिल्ली।जम्मू-कश्मीर (Jammu Kashmir) के खिलाफ पहलगाम में हाल ही में हुए आतंकी हमलों के बाद भारत सरकार ने पाकिस्तान (Pakistan) के सख्त कदम उठाना शुरू कर दिया है। बिना किसी सैन्य हमले के ही भारत ने ऐसे फैसले लिए हैं, जो पाकिस्तान (Pakistan) को कॉटनिटिक और इकोनोमिक मस्जिद पर तगादा झटका देने वाले हैं।
सीसीएस बैठक में 5 बड़े फैसले : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की शपथ में हुई सुरक्षा मामलों की सचिवालय समिति (सीसीएस) की बैठक में निम्नलिखित निर्णय लिए गए:
- दिल्ली में पाक उच्चयोग के कर्मचारियों की संख्या घटेगी।
- अगले 48 घंटे में सभी विदेशी नागरिकों को भारत छोड़ने का ऑर्डर।
- भारत में सभी विदेशी नागरिकों के स्वामित्व को बंद किया जा रहा है।
- सिंधु जल संधि पर रोक लगाने की प्रक्रिया शुरू।
- अटारी-बाघा सीमा से बंद करने का निर्णय।
इन तीनों से साफ है कि भारत ने पाकिस्तान (Pakistan) को घेरना शुरू कर दिया है।
बिना सैन्य कार्रवाई, कड़ा जवाब : रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि सरकार जल्द ही इस कायराना हमले, हमले का मुंह, झूठ का जवाबदेवियों। साल 2019 के हमलों के बाद भारत ने बालाकोट एयरस्ट्राइक की थी। लेकिन इस बार भारत ने शुरुआत ही की है नामांकन और नामांकन दबाव से।
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भारत और क्या कदम उठाया जा सकता है?
- 🇮🇳 नायिक संबंध पूरी तरह से ख़त्म होना: भारत, पाकिस्तान (Pakistan) में मौजूद अपने राजनेताओं को वापस ज़ायोनी पाक उच्चयोग को बंद किया जा सकता है।
- 💧 सिंधु जल संकट से पूरी तरह हटना: इससे पाकिस्तान के पंजाब और सिंध प्रांतों में भयंकर जल संकट उत्पन्न हो सकता है।
- 🌍 अंतर्राष्ट्रीय दबाव बनाना: भारत, अमेरिका, फ्रांस और अन्य मित्र देशों के साथ मिलकर पाकिस्तान को एफएटीएफ की ग्रे या ब्लैक लिस्ट में शामिल करने का प्रयास कर सकते हैं।
- 💼 व्यापारिक व्यापार पर भी पूर्ण प्रतिबंध लगाया जा सकता है: भारत, संयुक्त अरब अमीरात या अन्य माध्यमों से पाकिस्तान के साथ होने वाले।
पाकिस्तान को कैसे होगा नुकसान? :
- राजनिक अपार्टमेंट
- जल संकट और कृषि प्रभावित
- व्यापारिक संरचनाओं पर प्रभाव
- एफएटीएफ जैसे अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर दबाव की शुरुआत
पाकिस्तान की अर्थ व्यवस्था और छवि के फैसलों से दोनों में गहरा असर।